फ्रांस के हालिया चुनाव में वामपंथी न्यू पॉपुलर फ्रंट (NPF) की अप्रत्याशित उछाल से देश पर नीति गतिरोध का खतरा मंडरा रहा है। NPF ने नेशनल असेंबली में 182 सीटें हासिल कीं, जबकि राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों के सेंट्रिस्ट गठबंधन ने 168 सीटें और मरीन ले पेन की रैली (RN) ने 143 सीटें प्राप्त कीं। यह परिणाम एक जटिल वार्ता की भूमिका तैयार कर रहा है, जिसमें सभी दलों को मिलकर एक प्रभावी सरकार बनाने की चुनौती का सामना करना पड़ रहा है।
फ़्रांस चुनाव 2025 – क्या है नया?
फ़्रांस का अगला राष्ट्रीय चुनाव जल्द ही होने वाला है। कई लोग इस पर सवाल पूछ रहे हैं: कौन जीत सकता है, किसे सबसे ज्यादा वोट मिलेंगे और इसका यूरोप पर क्या असर पड़ेगा? यहाँ हम आपको सरल भाषा में सारे महत्वपूर्ण पहलुओं की जानकारी देंगे, ताकि आप पूरी तस्वीर समझ सकें.
मुख्य पार्टियों की स्थिति
फ़्रांस में दो बड़े राजनीतिक समूह हैं – दाएँ‑पक्ष का लार्जा रिपब्लिकेन (LR) और बाएँ‑पक्ष का सॉसियल डेमोक्रेटिक पार्टी (PS). इस बार दोनों ही गठबंधन में छोटे‑छोटे दल भी शामिल हो रहे हैं। लार्जा रिपब्लिकेन के प्रमुख उम्मीदवार को आर्थिक सुधारों पर ज़ोर देना पसंद है, जबकि सॉसियल डेमोक्रेट्स सामाजिक न्याय और जलवायु परिवर्तन पर ध्यान दे रहे हैं.
एक नई ताकत के रूप में एनालॉग पार्टी (RN) भी उभरी है। उनका मुख्य मुद्दा इमीग्रेशन नियंत्रण और राष्ट्रीय सुरक्षा है। कई सर्वेक्षणों में ये दल वोट‑शेयर बढ़ा रहे हैं, इसलिए उनकी भूमिका को नज़रअंदाज़ नहीं करना चाहिए.
मतदान प्रक्रिया और समयसारिणी
फ़्रांस का चुनाव दो चरण में होता है। पहले चरण में सभी योग्य मतदाताओं को एक वोट मिलता है। अगर किसी उम्मीदवार ने 50 % से ज्यादा वोट नहीं पकड़े, तो टॉप‑टू‑टेबल के दो उम्मीदवारों के बीच दूसरा दौर होता है। इस साल पहली राउंड 15 अप्रैल को निर्धारित है और यदि दूसरे दौर की जरूरत पड़ी तो वह 28 मई को होगा.
मतदान का तरीका भी सरल है – आप अपने नजदीकी मतदान केंद्र पर जा सकते हैं या पोस्टल वोटिंग कर सकते हैं अगर आप विदेश में हों। सभी मतदाता को पहचान पत्र साथ रखना पड़ता है, और प्रक्रिया लगभग एक घंटे में पूरी हो जाती है.
काफी लोग इस बार ऑनलाइन सर्वे के बारे में पूछते हैं. कई कंपनियों ने पहले से ही प्री‑इलेक्शन सर्वे जारी कर दिए हैं, लेकिन अंत तक परिणाम बदल सकते हैं। इसलिए हर दिन की खबरें देखना ज़रूरी है, खासकर तब जब प्रमुख उम्मीदवारों के बीच बहस या नई घोषणा होती है.
फ़्रांस चुनाव का यूरोपीय राजनीति पर सीधा असर पड़ता है. यदि दाएँ‑पक्ष जीतता है तो यूरोपीय संघ में आर्थिक उदारीकरण की नीति तेज़ हो सकती है, जबकि बाएँ‑पक्ष के जीतने से जलवायु परिवर्तन और सामाजिक सुरक्षा को प्राथमिकता मिलेगी.
अंत में एक बात याद रखें – मतदान सिर्फ वोट डालना नहीं, बल्कि अपने विचारों को सरकार तक पहुँचाने का मौका है. अगर आप फ़्रांस की राजनीति में रुचि रखते हैं, तो इस चुनाव को करीब से फॉलो करें और अपनी राय बनाएं।